About the Book
दर्द अनिवार्य है, लेकिन दुख वैकल्पिक है।
यह पुस्तक हमारे मानव अनुभव की समझ का एक क्रांतिकारी दृष्टिकोण
प्रस्तुत करती है। यह बताती है कि हम अपने कष्टों से मुक्ति कैसे पा सकते हैं और अपनी मनचाही चीज़ों को कैसे हासिल कर सकते हैं।
इस पुस्तक में आप पाएँगे :
• सारे मनोवैज्ञानिक और भावनात्मक कष्ट का मूल कारण और इसे ख़त्म करने का तरीक़ा
• नकारात्मक विचारों और भावनाओं से अप्रभावित कैसे रहें
• बिना शर्त का प्रेम, शांति और वर्तमान पल में ख़ुशी का अनुभव कैसे करें, चाहे हमारी बाहरी परिस्थितियाँ कैसी भी हों
• नकारात्मक विचारों के चक्र से मुक्त कैसे हों
• चिंता, आत्म-शंका, तनाव और आत्म-विध्वंसकारी आदतों से कैसे छुटकारा पाएँ
• समृद्धि, प्रवाह और सुख की अवस्था बिना प्रयास के कैसे उत्पन्न करें
• अज्ञात और अनिश्चितता के साथ सहजता से कैसे रहें
• आपके अंतर्ज्ञान और आंतरिक बुद्धिमत्ता तक कैसे पहुँचें, जो आपको आपकी हर मनचाही चीज़ दे सकती है