About the Book
भावनाएँ और विचार अनंत चलने वाली प्रक्रिया हैं और जब उनको शब्दों में बांधा जाता है तब वे कथा, लघुकथा, कहानी और उपन्यास का रूप ले लेते हैं। जब कोई घटना घटती है और उसे शब्दों में व्यक्त किया जाता है, तब उसका जो रूप सामने आता है वह एक कहानी बन जाता है। लेखक ने छोटी-छोटी घटनाओं को कहानियों के रूप में प्रस्तुत किया है। एक कहानी बताती है कि नवयुवक और युवतियां किस माहौल में अपना शौक पूरा कर रहे हैं और यह उनके माँ-बाप को पता चले तो वे हैरान रह जाएं। ऐसे ही एक कहानी का थानेदार अपने थाने में सर्वेसर्वा है पर ग्रामीण इलाकों में वहां के सम्पन्न लोगों के सामने वह कैसी जी-हुजूरी करता है, यह दिखाया गया है। एक अन्य कहानी में बताया गया है कि बैंक में हर वर्ष जिन्दा रहने का सत्यापन प्रमाणपत्र देना पड़ता है, और यदि आप व्यक्तिगत रूप से बैंक में जाएंगे तो आप सत्यापित नहीं माने जाएंगे, इसके लिए प्रमाणपत्र अनिवार्य होता है।
वर्तमान में अधिकांश रचनाकार, कवि, लेखक व साहित्यकार सम्मान प्राप्त करने के लिए क्या-क्या नहीं करते और महिलाओं को विशेष प्राथमिकता क्यों मिलती है, इस पर भी बात करने की कोशिश इस पुस्तक में की गई है।